स्थानीय संवाददाता / कोटद्वार। उत्तराखंड भोजनमाता कामगार यूनियन के बैनर तले दुगड्डा ब्लॉक की भोजन माताओं का विभिन्न मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन जारी रहा। उन्होंने कहा कि सरकार लगातार उनकी मांगों की अनदेखी कर रही है जिसे बदार्शत नहीं किया जाएगा। उनकी मांगों पर जब तक सकारात्मक कार्रवाई शुरू नहीं हो जाती उनका आंदोलन जारी रहेगा।
तहसील परिसर में धरना प्रदर्शन करते हुए भोजन माताओं ने कहा कि स्कूल प्रशासन द्वारा सरकार द्वारा जारी किए गए शासनदेश के विरूद्ध भोजन माताओं से ढाई घंटे से अधिक काम करवाया जा रहा है। उन्हें सुबह स्कूल खुलने से लेकर बंद होने तक रोका जाता है। साथ ही कई अन्य गैर जरूरी कार्य करवाए जाते हैं। स्कूलों में खाना बनाने वाली भोजनमाताओं की एकमात्र आर्थिकी का जरिया यही है लेकिन अब सरकार छात्र संख्या घटने का हवाला देकर उनको निकाल रही है। कई विद्यालयों में भोजन माताओं को लकड़ी जलाकर चूल्हे में भोजन पकाने को मजबूर किया जा रहा है।
जिसका असर उनके स्वास्थ्य पर पड़ रहा है। कहा कि सरकार ने गत जुलाई को भोजन माताओं का मानदेय पांच हजार रुपये करने की घोषणा की थी लेकिन अभी तक इसका शासनादेश जारी नहीं किया। उनकी मांग है कि निकाली गई भोजन माताओं को दोबारा नौकरी पर रखा जाए, उनको ईएसआई, पीएफ, पेंशन जैसी सुविधाएं दी जाएं ।
भोजनमाताओं का स्कूलों में होने वाला उत्पीड़न बंद किया जाए, खाने बनाने के दौरान भोजन माताओं को धुआं से मुक्ति दिलाई जाए व खाना बनाने का काम गैर सरकारी संगठन को सौंपना बंद किया जाए। प्रदर्शन करने वालों में संगठन की ब्लॉक अध्यक्ष अनीता शर्मा, कमला देवी, संगीता देवी, पुष्पा देवी, गुड्डी देवी, सतेश्वरी देवी, लीला देवी, आशा देवी, मंजू देवी, सरोज देवी, निर्मला देवी, कस्तूरी, भागीरथी, उर्मिला नेगी आदि शामिल रहे।