कोरोना के घटते संक्रमण के बावजूद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि केरल, मिजोरम, हिमाचल प्रदेश और सिक्किम सहित कई राज्य अभी भी बड़ी संख्या में कोविड-19 के मामले दर्ज कर रहे हैं।
बीएसएनके न्यूज डेस्क। देशभर में कोरोना महामारी की रफ्तार अब कम हो गई है। कोविड-19 संक्रमण के मामलों में भी रोजाना गिरावट देखी जा रही है। पिछले महीने संक्रमण के चरम पर पहुंचे अब कोरोना संक्रमण के मामलों में 80 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है। हालांकि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने गुरुवार को जानकारी दी है कि देश के चार राज्यों में 50,000 से ज्यादा एक्टिव केस हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने बताया, ‘इन चार राज्यों- केरल, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और कर्नाटक में कोविड-19 के 50,000 से ज्यादा एक्टिव केस हैं। जबकि 11 राज्यों में 10,000 से 50,000 के बीच कोरोना के एक्टिव मामले हैं।’ स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा, ‘देश में 11 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश ऐसे हैं, जहां एक्टिव केस 10,000 से 50,000 के बीच हैं. जबकि 21 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश में 10,000 से कम एक्टिव केस हैं।
अग्रवाल ने कहा कि 24 जनवरी को डेली पॉजिटिविटी रेट 20.75 प्रतिशत दर्ज की गई थी, जो अब घटकर 4.44 प्रतिशत हो गई है। ये आंकड़ा दर्शाता है कि संक्रमण फैलने की मौजूदा दर में काफी कमी आई है। मंत्रालय ने बताया कि देश भर में संक्रमण के मामलों और पॉजिटिविटी रेट में कमी दर्ज की गई है।
चार राज्यों में स्थिति चिंताजनक
कोरोना के घटते संक्रमण के बावजूद केंद्र ने कहा कि केरल, मिजोरम, हिमाचल प्रदेश और सिक्किम सहित कई राज्य अभी भी बड़ी संख्या में कोविड के मामले दर्ज कर रहे हैं। नीति आयोग के सदस्य डॉ वीके पॉल ने कहा कि कुल मिलाकर कोविड की स्थिति कंट्रोल में है। डॉ पॉल ने कहा, ‘कोरोना महामारी की मिली-जुली तस्वीर देखने को मिल रही है। आशावाद और सावधानी है. अभी तक महामारी की स्थिति आशावादी लगती है. हालांकि केरल, मिजोरम और हिमाचल प्रदेश सहित कुछ राज्यों में अभी भी बड़ी संख्या में संक्रमण के मामले सामने आ रहे हैं. हम सुरक्षा को कम नहीं कर सकते।
अभी सतर्क रहने की जरूरत
उन्होंने कहा, ‘देश को अभी सतर्क रहने की जरूरत है। हमने महामारी और वायरस के बारे में बहुत कुछ जाना है। हालांकि दुनिया इस वायरस के बारे में सब कुछ नहीं जानती है। दुनिया को इस वायरस से लड़ने के लिए एकजुट रहना चाहिए और उन उपकरणों का इस्तेमाल करना जारी रखना चाहिए जो हमारे पास मौजूद हैं। देश में सभी के लिए प्रिकॉशन डोज के सवाल पर डॉक्टर वीके पॉल ने कहा कि इस प्रस्ताव पर फिलहाल विचार किया जा रहा है।
सभी के लिए प्रिकॉशन डोज पर हो रहा विचार
उन्होंने कहा, ‘सभी के लिए प्रिकॉशन डोज की वैज्ञानिक जरूरत पर विचार किया जा रहा है। कोई प्रिकॉशन डोज का सभी लोगों पर इस्तेमाल कर रहा है, इसका मतलब यह नहीं है कि हम भी करें। स्वास्थ्य मंत्रालय ने आगे कहा कि देश में कोविड वैक्सीन की 171.28 करोड़ से ज्यादा डोज लगाई गई है। जबकि 96 प्रतिशत से अधिक वयस्क आबादी को पहली डोज लगी है। मंत्रालय ने कहा कि 78 प्रतिशत आबादी को दूसरी खुराक दी गई है, जबकि 1.61 करोड़ प्रिकॉशन डोज लगाई गई है।